Khajrana Ganesh Mandir Indore | खजराना गणेश मंदिर, इंदौर

यूं तो भारत अपने प्राचीन इमारतों और संस्कृति के लिए विश्व भर में जाना जाता हैं। यहां के हर धर्म के इमारत अपने आप में कई वर्षों पुरानी कहानियाँ छुपाए खड़ी हैं। ऐसी हीं कुछ रोचक तथ्यों के साथ कहानियाँ हिंदू धर्म के मंदिरों मे मिल जाती हैं। भारत के कुछ खास मंदिर और उसके पीछे की अनोखी कहानी भारत को और भी लोकप्रिय बनाती हैं। इन्में ज्यादातर मंदिर बड़े हीं पुराने माने जाते हैं। कुछ मंदिर तो अपने चमत्कार के लिए बहुत प्रसिद्ध भी माने जाते हैं। इनमे से एक Khajrana Ganesh Mandir है।

वैसे देखा जाए तो भारत में ऐसा कोई भी राज्य नहीं मिलेगा जहां कोई विख्यात मंदिर ना हो। मगर इन सब मंदिरों की अपनी एक अलग कहानी है और अलग पहचान है। कुछ मंदिर नए बनाए गए हैं तो कुछ सौ साल पुराने भीं माने जाते हैं। जितने पुराने मंदिर उतने पुराने उनके रहस्य भी होते हैं। यह मंदिर ना केवल पुरानी इमारत और कहानियों के लिए प्रचलित हैं। बल्कि कुछ मंदिरों की परंपरा भी सालों पुरानी मानी जाती है।

ऐसा ही एक मंदिर देखने को मिलता है मध्यप्रदेश के इंदौर शहर में। यह मंदिर गणेश भगवान को समर्पित हैं। यह चमत्कारी मंदिर Khajrana Ganesh Mandir के नाम से विख्यात है। इस मंदिर के पीछे भी बड़ी सुंदर और रोचक कहानी है। इस मंदिर को चमत्कारी मंदिरों में से एक भी माना जाता है। इंदौर शहर में स्थित यह मंदिर बड़ा ही खुबसूरत है।

खजराना गणेश मंदिर, इंदौर

मध्यप्रदेश वैसे तो बड़ी खुबसूरत जगह है, जहां का हर एक शहर अपनी अपनी अनोखी खासियत से लोगों का ध्यान आकर्षित करता है। मगर यहां के इंदौर शहर का विख्यात खजराना गणेश मंदिर, भक्तों के बीच बड़ी आस्था के साथ लोकप्रिय है। यह मंदिर बड़ा चमत्कारी माना जाता है। इसकी लोकप्रियता का अंदाज़ा आप यहां आने वाले भक्तों की संख्या से हीं लगा सकते हैं।

खजराना गणेश मंदिर, इंदौर से जुड़ी मान्यताएं और रोचक तथ्य

इस मंदिर को ले कर ऐसी मान्यता है कि यहां मांगी गयी हर मनोकामना पुर्ण होती है। इससे भी बड़ी रोचक बात यह है इस मंदिर की कि यहां लोग मन्नत मांगने के वक्त भगवान गणेश के पीठ पर उल्टा स्वास्तिक बना कर जाते है। पुनः जब भक्तों की मनोकामना पुर्ण हो जाती है तब वह इस मंदिर में दोबारा आ कर भगवान गणेश की पीठ पर सीधा स्वास्तिक बना कर जाते है।

कहा जाता है कि यह उल्टे और सीधे स्वास्तिक बनाने की परंपरा सालों से चली आ रही है। जिसमें भक्तों की बड़ी आस्था भी रहती है। ऐसा भी मानते हैं कि इस मंदिर में तीन परिक्रमा करते हुए धागा बांधने से भी मन्नत पुरी होती है।

खजराना गणेश मंदिर का इतिहास | History of Khajrana Ganesh Mandir

इंदौर के इस चमत्कारी Khajrana Ganesh Mandir को सन् 1735 में बनवाया गया था। मगर यह मंदिर यूं ही नहीं बनाया गया था बल्कि इसके पीछे एक बहुत ही रोचक कहानी है। कहानी के अनुसार एक बार एक पंडित को भगवान गणेश ने यह स्वप्न दिखाया कि वहां एक गणेश की मूर्ति ज़मीन में दबी पड़ी है। जिसे निकाल कर वहां मंदिर का निर्माण करना है।

यह स्वप्न देखने के बाद पंडित इसके बारे में जा कर होल्कर वंश की शासक अहिल्याबाई होल्कर को बताते हैं। जिसके बाद अहिल्याबाई उसी जगह पर खुदाई करवाती हैं। खुदाई करने पर गणेश की मूर्ति वहां मिल जाती है। जिसके बाद अहिल्याबाई वहां पर इस खजराना गणेश मंदिर का निर्माण करवाती हैं।

खजराना गणेश मंदिर, इंदौर की विशेषता | Facts about Khajrana Ganesh Mandir

  • यूं तो हर मंदिर कि कोई ना कोई अपनी विशेषता होती हीं हैं। मगर खजराना गणेश मंदिर की बात हीं निराली है। यह तो आप सब जानते होंगे की कोई नया कार्य शुरू करने से पहले भक्त भगवान गणेश की पुजा अर्चना करते हैं। लेकिन खजराना गणेश मंदिर में सबसे ज्यादा भीड़ देखने को मिलती है बुधवार के दिन। बुधवार के दिन खजराना गणेश मंदिर में लाखों की संख्या में भक्त आते हैं।
  • इसका एक और कारण यह है कि बुधवार के दिन खजराना गणेश मंदिर में एक विशेष आरती होती है जिसको भक्त किसी भी कीमत पर छोड़ना पसंद नही करते। यह मंदिर बहुत सुंदर और अद्भुत माना जाता है।
  • देश के सबसे धनी मंदिरों में से एक माना जाता है खजराना गणेश मंदिर को। यहां भक्त चढ़ावा चढा़ते हैं और दान भी देते है। यही वजह है कि यह मंदिर देश के अमीर मंदिरों में शामिल है। भक्त यहां ऑनलाईन दान भी करते हैं जैसा कि बड़े बड़े मंदिरों में होता है।
  • यह मंदिर भारतीय क्रिकेट टीम के बीच भी बड़ी लोकप्रिय मानी जाती है। कहते हैं कि इंदौर आया कोई भारतीय क्रिकेटर खजराना गणेश मंदिर में बप्पा का आशीर्वाद लिए बिना नही जाता।
  • चमत्कारी मंदिर होने के कारण यहां भक्त अपने जीवन के हर शुभ काम के शुरुआत के लिए आशिर्वाद लेने सबसे पहले यहीं आते है। यहां तक की भक्त हर शुभ समारोह का पहला निमंत्रण यहीं बप्पा को भेजवाते है।
  • यहां की एक और विशेषता यह है कि यहां भक्तों के लिए हर रोज भोजन की व्यवस्था की जाती है। जिसमें हर रोज़ हजारों भक्तों को खाना खिलाया जाता है। ऐसी भी परंपरा यहां प्रचलित है कि यहां भक्त अपनी मन्नत पुरी होने पर अपने वजन के बराबर लड्डू भेंट में बप्पा को चढ़ाते हैं।

खजराना गणेश मंदिर में बप्पा की मूर्ति के अलावा और भी देवी देवता के मंदिर हैं। जिनमें भगवान राम, माँ दुर्गा, भगवान शिव, साईं बाबा, हनुमान के मंदिर भी शामिल हैं। कुल मिलाकर इस मंदिर में 33 बड़े और छोटे मंदिर पाए जाते हैं। मंदिर परिसर में एक सालों पुराना पीपल का पेड़ भी देखने को मिलता है। यह पेड़ भी चमत्कारी माना जाता हैं। भक्तों के बीच ऐसी आस्था है कि यह पीपल का पेड़ भी मनोकामना पूर्ण करता है।

भक्तों की आस्था से जुडा़ यह मंदिर देश के प्रसिद्ध मंदिरों में से एक यूं हीं नहीं जाता है। बल्कि यहां के भक्तों की पुरी होने वाली हर मन्नत इस मंदिर के प्रताप की साक्षी है। यही कारण है कि हर वर्ष यहां आने वाले भक्तों की संख्या यहां बढ़ती जा रही है। यदि कोई इंदौर आए और खजराना गणेश मंदिर के बप्पा के दर्शन ना करें तो वह इस मंदिर की खुबसुरती और चमत्कार दोनो से वंचित रह जाएगा।

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